UPSC Lateral Entry: Central Government asks UPSC chairperson to cancel lateral entry advertisements
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UPSC Lateral Entry: केंद्र सरकार ने यूपीएससी को पत्र लिखकर लेटरल एंट्री रोकने को कहा है। कार्मिक एवं प्रशिक्षण मंत्री जितेंद्र सिंह ने पत्र में यूपीएससी से लेटरल एंट्री भर्ती विज्ञापन रद्द करने को कहा है।
UPSC Lateral Entry: केंद्र सरकार ने यूपीएससी की लेटरल एंट्री भर्ती पर रोक लगा दी है. इसके लिए केंद्र सरकार की ओर से यूपीएससी को पत्र लिखा गया है. आपको बता दें कि लेटरल एंट्री भर्ती को लेकर सवाल उठ रहे थे, जिसके बाद सरकार ने यह फैसला लिया है. यूपीएससी चेयरमैन को यह पत्र केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने लिखा है. जिसमें उन्होंने यूपीए सरकार के दौरान इस तरह की नियुक्ति को लेकर की गई पहल का भी जिक्र किया है. इस पत्र में कहा गया है कि साल 2005 में पहली बार वीरप्पा मोइली की अध्यक्षता में केंद्र सरकार ने लेटरल एंट्री की सिफारिश की थी. हाल ही में यूपीएससी की ओर से लेटरल एंट्री के लिए भर्ती विज्ञापन जारी किया गया था, जिसकी प्रक्रिया और इसमें आरक्षण को लेकर विपक्ष लगातार सरकार पर हमला बोल रहा था. इस पर लगातार सवाल उठने के बाद अब केंद्र सरकार ने संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) को पत्र लिखकर सीधी भर्ती के विज्ञापन को रद्द करने को कहा है.
विपक्ष ने उठाए थे सवाल
यूपीएससी में लैटरल एंट्री को लेकर विपक्ष लगातार सरकार पर सवाल उठा रहा था। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी समेत कई विपक्षी दलों के नेताओं ने यूपीएससी में लैटरल एंट्री और इसमें आरक्षण न दिए जाने का विरोध किया था। इसके बाद सरकार में भी कई दलों ने इसे लेकर आवाज उठानी शुरू कर दी, जिसके बाद अब सरकार ने यूपीएससी को लैटरल एंट्री का विज्ञापन रद्द करने का निर्देश दिया है।
ये है पूरा मामला
अभी तीन दिन पहले ही संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) ने लेटरल एंट्री के जरिए केंद्रीय मंत्रालयों और विभागों में संयुक्त सचिव, निदेशक और उप सचिव के कुल 45 पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किया था। जिसके बाद इसे लेकर बवाल मच गया था, विपक्ष ने आरोप लगाया था कि इन भर्तियों में आरक्षण की अनदेखी की जा रही है।
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