iex company को ग्रेट प्लेस टू वर्क® के रूप में प्रमाणित किया गया है
भारत की पहली इलेक्ट्रॉनिक पावर ट्रेडिंग एक्सचेंज करने वाली कंपनी इंडियन एनर्जी एक्सचेंज [ iex ] को अपने क्षेत्र में बेहतर काम करने के लिए 2023 और 2024 के लिए भारत में ग्रेट प्लेस टू वर्क® के रूप में प्रमाणित किया गया है।
iex की परिभाषा
इंडियन एनर्जी एक्सचेंज पर ट्रेडिंग कैसे काम करती है?
एक उदारण से iex ट्रेडिंग कैसे काम करती है जान लेते है मुंबई शहर में बिजली की कमी है ऐसे में बिजली की जो किम्मत है वो बड़ेगी और मुंबई का जो बिजली बोर्ड के मुनाफे में भी कमी नजर आएगी तो इसका हल पाने के लिए मुंबई बिजली बोर्ड इंडियन एनर्जी एक्सचेंज साइट में जाकर लॉग इन करेगा और ये पता लगायगा कोई दूसरी बिजली का उत्पादन करने वाली कंपनी है जो और कम खर्च में बिजली का पेशकश करेगा तो इसके उपर फिर बोली लगेगी और मुंबई बिजली बोर्ड की कम खर्च में बिजली भी मिल जाएगी।
इंडियन एनर्जी एक्सचेंज व्यापार
इंडियन एनर्जी एक्सचेंज कोई भी व्यापार कर सकता है तो इसका जवाब नहीं है क्योंकि यह बड़े स्तर पर लेनदेन की प्रक्रिया है अगर आपके पास बहुत अधिक पूंजी है तो आप सीआरसी के आवश्यक मंजूरी ले सकते उसकी मंजूर लेने के बाद आपके पास 100 लाख रुपये तक लेनदेन होनी चाहिए तभी आप इंडियन एनर्जी एक्सचेंज पर व्यापार कर सकते हैं अगर हम एक्सचेंज की प्रतिदिन की बात करें तो 7000 मेगावाट बिजली का कारोबार हर दिन यहां पर होता है।
इंडियन एनर्जी एक्सचेंज का भविष्य
FAQ
सवाल-आईईएक्स की शुरुवात किसने की?
जवाब- आईईएक्स शुरुवात ब्रैड कात्सुयामा और रोनन रयान ऐसे दो व्यक्ति 2012 से की है।
सवाल-आईईएक्स पैसे कैसे कमाता है?
जवाब- iex बिजली का ऑनलाइन सेल और बाय करता जिसे हम इलेक्ट्रॉनिक पावर ट्रेडिंग कहते है और जो उपभोक्ता ट्रेडिंग करता है उसे एक छोटी रक्कम वसूल करता है।
सवाल-आईईएक्स का उत्पादन कितना होता है?
जवाब- आईईएक्स पर प्रतिदिन की बात करें तो 7000 मेगावाट बिजली का कारोबार हर दिन यहां पर होता है।
निष्कर्ष- इंसान की सुविधा और बेहतर तरीके से होने के लिए तो व्यापार का निर्माण होता है